अम्बिकापुर , मई 2022/ जिला विधिक सेवा प्राधिकरण अम्बिकापुर के अध्यक्ष तथा जिला एवं सत्र न्यायाधीश श्री आर.बी. घोरे के निर्देश पर प्राधिकरण के सचिव श्री अमित जिंदल ने 18 मई 2022 को केन्द्रीय जेल अम्बिकापुर के महिला प्रकोष्ट में विधिक जागरूकता शिविर का आयोजन किया। उन्होंने महिला बंदियों को उनके अधिकार की कानूनी जानकारी दी।
श्री जिंदल ने बताया कि जमानती अपराध की दशा में जमानत दिए जाने पर आज्ञापक प्रावधान है तथा दण्ड प्रक्रिया संहिता 1973 की धारा 437(6) के अनुसार यदि मजिस्ट्रेट द्वारा विचारणीय मामले में अजमानती अपराध का अभियुक्त व्यक्ति का आचरण उस मामले में साक्ष्य के लिए नियत प्रथम तारीख से 60 दिन के भीतर पूरा नहीं होता और वह व्यक्ति उक्त संपूर्ण अवधि में अभिरक्षा में रहा है तो जब तक मजिस्ट्रेट अन्यथा निर्देश न दे तो वह जमानत पर छोड़ा जा सकता है तथा दण्ड प्रक्रिया संहिता 1973 की धारा 436 में वर्ष 2005 के संशोधन द्वारा जोड़े गए उपबंध के निर्धन व्यक्ति को व्यक्तिगत मुचलके पर छोड़ा जा सकता है तथा यदि वह 7 दिन में जमानत देने में असमर्थ होता है तो पर्याप्त आधार माना जाएगा कि वह निर्धन है।
