छत्तीसगढ़

प्रधानमंत्री सूर्यघर-मुफ्त बिजली योजना से बिजली बिल से राहत


अम्बिकापुर, 02 जुलाई 2025/sns/-  गर्मी हो या बरसात, अब तक बिजली बिल का बोझ हर घर की जेब पर भारी पड़ता था। लेकिन अब इस समस्या का समाधान प्रधानमंत्री सूर्यघर-मुफ्त बिजली योजना के रूप में सामने आया है। इस योजना का उद्देश्य आम नागरिकों को बढ़े हुए बिजली बिल से राहत दिलाना है।
इस योजना के तहत घरों की छत पर सोलर रूफटॉप  स्थापित करने पर केंद्र और राज्य शासन द्वारा अनुदान राशि प्रदान की जा रही है। इससे उपभोक्ताओं को अपने बिजली बिल में राहत मिल रही है। लोग अपनी जरूरत से अधिक बिजली का उत्पादन कर उसे ग्रिड को सप्लाई कर सकते हैं, जिससे न केवल उनका बिजली बिल शून्य हो रहा है, बल्कि अतिरिक्त आय भी जरिया भी बनेगा।
प्रधानमंत्री सूर्यघर-मुफ्त बिजली योजना आम नागरिकों को बिजली बिल से राहत देने के साथ ही पर्यावरण संरक्षण को भी बढ़ावा दे रही है। इसी योजना का लाभ उठाकर अम्बिकापुर डीसी रोड के निवासी श्री रामाकांत राय ने तीन माह पूर्व अपने घर की छत पर सोलर रूफटॉप लगवाया। उन्होंने बताया कि संयंत्र चालू होने के साथ ही उनके घर में बिजली उत्पादन शुरू हो गया और पहले ही महीने उनका बिजली बिल माइनस में आ गया। अब उनके घर का बिजली बिल पूरी तरह शून्य हो गया है।
श्री राय ने कहा कि सौर ऊर्जा के उपयोग से न केवल बिजली बिल का बोझ खत्म हुआ है, बल्कि इसके  इस्तेमाल से प्राकृतिक संसाधनों की खपत भी कम होगी और पर्यावरण भी संरक्षित होगा। उन्होंने बताया कि इस योजना के तहत उन्हें 78,000 रुपए की सब्सिडी शासन से प्राप्त हुई है और इस सोलर पैनल पर 10 साल की गारंटी भी है। उन्होंने कहा कि मात्र 2 से 3 वर्षों में पूरी तरह लागत वसूल हो जाएगी और इसके बाद यह शुद्ध बचत का माध्यम बनेगा।
उन्होंने प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी और मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय की इस योजना को अत्यंत उपयोगी और सराहनीय पहल बताया। उन्होंने कहा कि यह योजना हर घर को आत्मनिर्भर बनाने और अन्य ऊर्जा स्रोतों पर निर्भरता समाप्त करने की दिशा में बड़ा कदम है। उन्होंने लोगों से इस योजना का अधिक से अधिक लाभ उठाने की लोगों से अपील करते हुए शासन का आभार व्यक्त किया।
प्रधानमंत्री सूर्यघर-मुफ्त बिजली योजना में पंजीयन और सब्सिडी प्राप्त करने की सरल प्रक्रिया है। उपभोक्ता को योजना की वेबसाइट pmsuryaghar.gov.in   या मोबाइल एप पर पंजीयन कर आवेदन करना होता है। पंजीयन के बाद अधिकृत वेंडर संयंत्र की स्थापना करते हैं सत्यापन के पश्चात अनुदान राशि उपभोक्ता के खाते में ऑनलाइन जमा कर सकते है। इस योजना से आमजन को आर्थिक लाभ तो मिल ही रहा है, साथ ही पर्यावरण संरक्षण और ग्रीन एनर्जी को बढ़ावा भी मिल रहा है।

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