किसान अपना बायो मेट्रिक आधार (अंगूठा लगाकर) प्रमाणीकरण के बाद धान की बिक्री करेगा
सेवा सहकारी समिति प्रबंधक, आरईओ, और दोनों सहकारी गन्ना कारखाना के कर्मचारियों को प्रशिक्षण दिया गया
नॉमिनी के माध्यम से बेच सकेंगे धान, मां, पिता, पुत्र, पुत्री ही नही दामाद भी बनाए जा सकते हैं नॉमिनी
कवर्धा, सितंबर 2023। खरीफ विपणन वर्ष 2023-24 के धान के समर्थन मूल्य पर खरीदी में पारदर्शिता में सुधार लाने के लिए बायोमेंट्रिक आधारित खरीदी प्रणाली लागू की गई है। इसके अलावा राज्य शासन द्वारा किसानों को अपना समर्थन मूल्य पर बेचने के लिए और भी सुविधाएं उपलब्ध कराई गई है। कलेक्टर श्री जनमेजय महोबे ने राज्य शासन द्वारा समर्थन मूल्य पर धान खरीदी के लिए जारी दिशा-निर्देशों के बारे में कृषि, खाद्य, सहकारिता विभाग के अधिकारियों, गन्ना कारखाना के एमडी, सेवा सहकारी समिति प्रबंधक, गन्ना क्षेत्र अधिकारी, कम्यूटर आपरेटरों की सयुक्त बैठक ली। बैठक के बाद कलेक्टर के निर्देश पर जिले के सभी सेवा सहकारी समिति प्रबंधकों, कम्यूटर आपरेटर, गन्ना क्षेत्र अधिकारियों को विशेष प्रशिक्षण दिया गया।
कलेक्टर श्री जनमेजय महोबे ने अधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा कि सभी सेवा सहकारी समिति प्रबंधक, कम्यूटर ऑपरेटर राज्य शासन द्वारा धान खरीदी के संबंध में जारी विस्तृत दिशा-निर्देशों को गंभीरता से अध्ययन कर ले,ताकि समिति के अंतर्गत किसानों सही-सही जानकारी बता सके। कलेक्टर ने निर्देशित करत हुए कहा कि जिले के पिछले साल के पंजीकृत सभी एक लाख 18 हजार 221 किसानों के पंजीयान की जानकारी पोर्टल में 30 सितम्बर तक किसी भी स्थिति में कैरीफारर्वड करना अनिवार्य है, इस लक्ष्य की पूर्ति के लिए कलेक्टर द्वारा प्रत्येक सेवा सहकारी समिति प्रबंधक को प्रति दिन उनकी समिति में तीन सौ से अधिक किसानों जानकारी कैरीफार्वट करने के निर्देशित किया है, ताकि समय सीमा में लक्ष्य पूरा किया जा सके। कलेक्टर ने प्रशिक्षण में सभी समिति प्रबंधकों को एनआईसी के तकनीकि अधिकारी से परिचय कराते हुए कहा कि सभी उनका नम्बर रख ले, ताकि ऑनलाईन पंजीयन होने वाले तकनीकि दिक्कतों से शीघ्रता से हल किया जा सके। बैठक में उपसंचालक कृषि श्री राकेश शर्मा, एमडी शक्कर कारखाना श्री सतीश पाटले, जिला सहकारी केन्द्रीय बैक नोडल अधिकारी श्री मिश्रा विशेष रूप से उपस्थित थे।
प्रशिक्षण में बताया कि समर्थन मूल्य पर होने वाली धान की खरीदी में पारदर्शिता लाने के लिए इस साल किसानों की पहचान बायोमैट्रिक्स निशान से करेंगे। कई वृद्ध किसानों का बायोमैट्रिक्स निशान नही आता, ऐसे में उन्हे नॉमिनी बनाने की सुविधा दी जा रही है। जो नॉमिनी नही बनाएंगे वे ट्रस्टेड पर्सन (विश्वसनीय व्यक्ति) की मदद से भी अपनी उपज बेच सकेंगे। हालांकि पहले से पंजीकृत किसानों को सहकारी समिति द्वारा सॉफ्टवेयर के लॉगिन में मैन्युअली कैरी फारवर्ड किया जाएगा।
नॉमिनी के माध्यम से बेच सकेंगे धान
प्रशिक्षण में बताया गया कि यदि किसान स्वयं खरीदी केंद्र जाकर धान नही बेच सकता है तो वह नॉमिनी द्वारा खरीदी केंद्र में उपस्थित होकर बायोमैट्रिक्स एथेंटीकेशन के आधार पर धान बेच सकता है। यदि इस आधार पर धान बेचने में कठिनाई होती है तो विश्वसनीय व्यक्ति द्वारा बायोमैट्रिक्स एथेंटीकेशन पर धान बेचा जा सकेगा।
मां, पिता, पुत्र, पुत्री ही नही दामाद भी बनाए जा सकते हैं नॉमिनी
प्रशिक्षण में बताया गया कि किसान खरीदी केंद्र में जाकर यदि धान नही बेच सकता है तो वह अपने मां, पिता, पति, पत्नि, पुत्र, दामाद, बेटी, बहू, सगे भाई, बहन व अन्य करीबी रिश्तेदार को नॉमिनी बना सकता है। इसके अलावा वह किसी को भी नॉमिनी नियुक्त नही कर सकेगा। करीबी रिश्तेदार किसे कहा गया है, वह स्पष्ट नही किया गया है। अब तक बिचौलियों द्वारा किसानों का धान बेचने की शिकायतों के मद्देनजर यह सुविधा दी जा रही है।
कलेक्टर तय करेंगे विश्वसनीय व्यक्ति, वही बेच सकेगा किसान का धान
किसान विश्वसनीय व्यक्ति द्वारा बायोमैट्रिक्स एथेंटीकेशन कर धान बेच सकता है। एक खरीदी केंद्र में एक से अधिक विश्वसनीय व्यक्ति हो सकता है। विश्वसनीय व्यक्ति उस सहकारी समिति का नही होगा। कलेक्टर द्वारा नामांकित अधिकारी मसलन सहायक खाद्य अधिकारी, खाद्य निरीक्षक, सहकारिता विस्तार अधिकारी, ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी, खरीदी केंद्र का नोडल अधिकारी आदि में से कोई भी विश्वसनीय व्यक्ति हो सकता है।
नए किसानों का पंजीयन के लिए देने होंगे ये जरूरी दस्तावेज
प्रशिक्षण में बताया गया कि नए पंजीयन और पंजीयन में संशोधन के लिए किसानों को जरूरी दस्तावेज जैसे-ऋण पुस्तिका, बी-1, आधार नंबर, पासबुक की छायाप्रति आदि अपने नजदीकी सहकारी समिति में जमा करना होगा। दस्तावेजों के परीक्षण व सत्यापन के बाद सहकारी समिति द्वारा एकीकृत किसान पोर्टल में किसानों का पंजीयन किया जावेगा। पूर्व वर्ष के पंजीयन में संशोधन के लिए 30 सितंबर, 2023 तक समिति में आवेदन प्रस्तुत करना होगा। नए पंजीयन व पंजीकृत फसल या रकबे में संशोधन का काम 31 अक्टूबर, 2023 तक पूरा करना होगा।
पंजीकृत फसल/रकबे में संशोधन
प्रशिक्षण में बताया गया कि ऐसे कृषक जो पंजीकृत फसल/रकबे में संशोधन कराना चाहते है, उन्हे आवश्यक दस्तावेज जैसे ऋण पुस्तिका एवं बी-1 की छायाप्रति के साथ प्रपत्र 2 में आवेदन करना होगा। कृषक को पूर्व पंजीकरण के दौरान प्राप्त यूनिक किसान पहचान संख्या का उल्लेख आवेदन में करना होगा। यह खरीफ वर्ष 2023 में न्यूनतम समर्थन मूल्य पर धान विक्रय हेतु पंजीकृत कृषकों तथा राजीव गांधी किसान न्याय योजना हेतु अन्य फसलों में आदान सहायता राशि प्राप्ति के लिए पंजीकृत कृषकों के लिए भी लागू होगा। कृषक के आवेदन के परीक्षण, सत्यापन एवं पंजीयन की कार्यवाही प्रक्रिया अनुसार की जावेगी।
कृषक के व्यक्तिगत विवरण में संशोधन
प्रशिक्षण में बताया गया कि कृषक को व्यक्तिगत विवरण, आधार नंबर एवं बैंक विवरण आदि में संशोधन कराना चाहता है, उन्हे निर्धारित प्रपत्र 3 में संबंधित दस्तावेजों की छायाप्रति के साथ आवेदन संबंधित ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी के पास जमा करना होगा और वह इसकी पावती प्राप्त कर सकेगा। ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी द्वारा कृषक के आवेदन एवं संबंधित दस्तावेज की छायाप्रति का प्रारंभिक परीक्षण एवं सत्यापन मूलप्रति से करने के उपरांत पोर्टल पर कृषक का संबंधित ग्राम का चयन कर सत्यापन किया जावेगा। ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी को कृषक का आवेदन संबंधित कार्यालय वरिष्ठ कृषि विकास अधिकारी में कृषक से आवेदन प्राप्त करने की तिथि से तीन दिवस के भीतर अनिवार्य रूप से जमा करना होगा। वरिष्ठ कृषि विकास अधिकारी द्वारा संबंधित दस्तावेज का परीक्षण एवं सत्यापन कर एकीकृत किसान पोर्टल पर कृषक की जानकारी का अपडेट/संशोधन किया जावेगा।
वारिसान पंजीयन
प्रशिक्षण में बताया गया कि पंजीकृत कृषक के मृत्यु होने/वारिस घोषित करने/भूमि विवाद होने की स्थिति में एवं संबंधित कृषक के भूमि की जानकारी भुईया पोर्टल में अपडेट नही होने पर कृषक को वारिसान पंजीयन हेतु आवेदन करना होगा। वारिसान पंजीयन हेतु कृषक निर्धारित प्रपत्र 4 में आवेदन के साथ आवश्यक दस्तावेज जैसे ऋण पुस्तिका, बी-1, आधार नंबर, शपथ पत्र इत्यादि संबंधित तहसील कार्यालय में जमा कर पावती प्राप्त कर सकेगा। तहसीलदार द्वारा कृषक के आवेदन व आवश्यक दस्तावेज का परीक्षण एवं सत्यापन किया जावेगा। पोर्टल में प्रदर्शित प्रक्रिया अनुसार तहसीलदार द्वारा कृषक से आवेदन प्राप्त करने के 15 दिवस के भीतर एकीकृत किसान पोर्टल पर वारिसान का पंजीयन किया जावेगा।
खरीफ वर्ष 2023 के लिए संशोधित प्रावधान
योजना अंतर्गत पूर्व वर्ष के पंजीकृत कृषकों को सहकारी समिति द्वारा सॉफ्टवेयर के लॉगिन में मैन्युअली कैरी फारवर्ड किया जायेगा।
पंजीकृत कृषक का निरस्तीकरण
कृषक की मृत्यु या भूमि पर मालिकाना अधिकार समाप्त होने या भूमि का डायवर्सन होने पर निरस्तीकरण की कार्यवाही तहसीलदार के लॉगिन से की जाएगी।
खरीफ वर्ष 2023 में नये पंजीयन या संशोधन का सत्यापन
कृषि फसलों हेतु ग्रामीण कृषि विस्तार अधिकारी एवं उद्यानिकी फसलों जैसे साग-सब्जी एवं फलदार फसलों हेतु ग्रामीण उद्यानिकी विस्तार अधिकारी द्वारा अपने लॉगिन से कृषक के पंजीयन/संशोधन का सत्यापन किया जायेगा।
गन्ना प्रोत्साहन योजनांतर्गत लाभ प्राप्त करने के लिए एकीकृत किसान पोर्टल में पंजीयन कराना अनिवार्य होगा
कलेक्टर श्री महोबे ने बताया कि जिले के दोनों सहकारी शक्कर कारखानों के अंतर्गत गन्ना विक्रय करने वाले कृषकों को भी खरीफ 2023 से गन्ना प्रोत्साहन योजनांतर्गत लाभ प्राप्त करने के लिए एकीकृत किसान पोर्टल में पंजीयन कराना अनिवार्य होगा। इन पंजीकृत किसानों के पंजीकृत रकबा का गन्ना ही कारखानों में खरीदी की जाएगी। जिले के गन्ना फसल उत्पादक सभी किसानों से अपील की है कि बोये गए गन्ना फसल के समस्त रकबे का पंजीयन एकीकृत किसान पोर्टल में कराने के लिए अपने संबंधित सेवा सहकारी समिति प्रबंध से संपर्क कर सकते हैं। इस योजनांतर्गत पंजीयन हेतु निर्धारित आवेदन पत्र के साथ बी-1, पी-2, आधार कार्ड, बैंक पासबुक, ऋण पुस्तिका की छायाप्रति जमा किया जाना आवश्यक है।