छत्तीसगढ़

शिक्षा गुणवत्ता, मध्यान्ह भोजन, पोषण आहार, और स्वच्छता सहित आश्रम-छात्रावासों पर अधिकारी विशेष ध्यान दें- कलेक्टर

कलेक्टर श्री महोबे ने बैठक लेकर शिक्षा, आदिमजाति, स्वास्थ्य, महिला एवं बाल विकास विकास विभाग, सहित अनुविभगीय अधिकारी राजस्व को दिए आवश्यक दिशा-निर्देश

  कवर्धा, अगस्त 2022। कलेक्टर जनमेजय महोबे ने जिला स्तरीय अधिकारियों की संयुक्त बैठक लेकर राज्य शासन की महत्वाकांक्षी योजनाओं और कार्यक्रमों की प्रगति की गहनता से समीक्षा की। कलेक्टर ने जिले में शिक्षा गुणवत्ता अभियान, स्कूली बच्चों को मिलने वाले मध्यान्ह भोजन, आंगनबाड़ी बच्चों और शिशु व गर्भवती माताओं को मुख्यमंत्री सुपोषण अभियान के तहत मिलने वाली पोषण आहार, स्वास्थ्य सुविधाएं की क्रियान्वयन पर विशेष जोर दिया। कलेक्टर ने जिले के एक स्कूल में मध्यान्ह भोजन की शिकायत को गंभीरता से लेते हुए योजनाओं के क्रियान्वयन नहीं होने पर जिला शिक्षा अधिकारी पर कड़ी नाराजगी भी जताई।
   कलेक्टर श्री महोबे ने मुख्यमंत्री सुपोषण अभियान की समीक्षा करते हुए अधिकारियों को निर्देशित करते हुए कहा कि समग्र सुपोषण की दिशा में छत्तीसगढ़ शासन का यह महत्वपूर्ण अभियान है। सुपोषण अभियान के क्रियान्वयन के लिए जिले के बोडला और पंडरिया विकासखण्ड के चिन्हांकित सेक्टरों में अतिरिक्त पोषण आहार प्रदाय की जा रही है। महिला एवं बाल विकास अधिकारी एवं संबंधित एसडीएम इस कार्यक्रम के क्रियान्वयन की सतत मॉनिटरिंग करे और आंगनबाड़ी केन्द्रों को औचक निरीक्षण भी करे। कलेक्टर ने जिले के आंगनबाड़ी केन्द्रों में संचालित होने वाले वजन त्यौहार व स्तनपान सप्ताह के कार्यकमों के क्रियान्वयन की पूरी जानकरी लेकर आवश्यक दिशा-निर्देश दिए।
   कलेक्टर श्री महोबे ने इसी प्रकार स्कली बच्चों को मध्यान्ह भोजन के रूप में प्रदाय की जाने वाले पोषण आहार के क्रियान्यन के लिए शिक्षा एवं अनुविभागीय अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। कलेक्टर ने जिले के स्वामी आत्मानंद अंग्रेजी माध्यम स्कूल के बच्चों को तीन माह तक मध्यान्ह भोजन नहीं मिलने की जानकारी पर शिक्षा विभाग के अधिकारी पर कडी नाराजगी जताई। कलेक्टर ने इस विषय पर संबंधितो ंके विरूद्ध शो-कॉज नोटिश जारी करने के निर्देश दिए। शिक्षा अधिकारी ने बैठक में बताया कि दिसम्बर में कोविड की वजह से ऑनलाईन क्लासेस चल रही थी। उस समय स्कूल भवन का निर्माण कार्य चल रहा रहा था। इस वजह से शहर के अलग-अलग स्कूलों में पढ़ाई कराने की व्यवस्था बनाई गई थी। दिसम्बर से लेकर जनवरी और फरवरी का चावल का उठाव संबंधित स्कूल प्रंबंध द्वारा नहीं किया गया है। इस लिए उस अवधि का चावल मार्च, अप्रैल, जून और 15 जुलाई तक चावल समायोजित किया जाएगा।
   कलेक्टर ने जिले में शिक्षा गुणवत्ता अभियान पर भी विशेष जोर दिए है। कलेक्टर ने बैठक में शिक्षक संघ के हड़ताल समाप्ति के बाद स्कूलों में शिक्षकों की उपस्थिति की शिक्षा अधिकारी ने पूरी जानकारी ली। कलेक्टर ने शिक्षकों से अपेक्षा करते हुए कहा कि हड़ताल अवधि में स्कूली बच्चों की पढ़ाई अधूरी हो गई थी। समय-के साथ-साथ बच्चों को पढ़ाई भी करनी होती है। इसलिए शिक्षक अपने स्कूलों में अतिरिक्त क्लासेस लेकर अपने पाठ्यक्रम को करा सकते है, इसके लिए शिक्षकों से अपेक्षा की गई है।
  कलेक्टर ने मुख्यमंत्री हाट-बाजार क्लिनिक योजना के तहत जिले के सूदूर वनांचल क्षेत्रों में गांवों के हाट-बाजार को भी जोड़ने के निर्देश दिए है। कलेक्टर ने कहा कि इस योजना का उद्ेश्य ही हाट-बाजारों के माध्यम से वन,पहाड़ी तथा अन्य दुर्गम क्षेत्रों में निवारत ग्रामीणों जन जातीय समूहो तक स्वास्थ्य सुविधाओं की पहुंंच आसान कराना है। कलेक्टर ने सीएमचओ को निर्देशित करते हुए कहा कि पूर्व में तैयार की गई हाट-बाजार में अगर जिले के सूदूर वनांचल क्षेत्रों का हाट-बाजार छूट गए है तो उसे इस सूची में जोड़े। साथ ही बरसात के दिनों में जलजनित होने वाले मौसमी बीमारियों के रोकथाम के लिए जिले के वनांचल क्षेत्रों में समय-समय पर स्वास्थ्य शिविर लगाने के भी निर्देश दिए। कलेक्टर ने आदिम जाति विकास विभाग के अधिकारी से जिले में सभी संचालित होने वाले आश्रम-छात्रावासों की स्थिति की पूरी जानकारी ली। कलेक्टर ने समाज कल्याण विभाग और जिला स्वास्थ्य अधिकारी को निर्देशित करते हुए कहा कि जिले के दिव्यांगजनों को शासन से प्रदाय होने वाली योजनाओं का लाभ दिलाए और इसके लिए दिव्यांगता शिविर आयोजित करने के निर्देश भी दिए। बैठक में अपर  पुलिस अधीक्षक डॉ लाल उम्मेद सिंह, अपर कलेक्टर श्री बीएस उईके, जिला पंचायत सीईओ श्री संदीप अग्रवाल, सर्व एसडीएम व समस्त जिला स्तरीय अधिकारीगण उपस्थित थे। 

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